साउथहैम्पटन के ग्राउंड में 12 मार्च को खेला गया पहला ODI, भारत और इंग्लैंड महिलाओं के बीच का टकराव था। दोनों टीमें इस श्रृंखला को अपने 50‑ओवर विश्व कप की तैयारी का एक बड़ा अभ्यास मान रही थीं। इंग्लैंड ने 259 रन बनाकर लक्ष्य तय किया, जबकि भारत को इसे कम समय में हासिल करना था। शुरुआती अल्पावधि में भारत 124/4 पर उलझन में पड़ गया, जिससे मैच का रुख उलटने की संभावना कम लग रही थी।
ऐसी ही स्थिति में दो युवा तेज़ गेंदबाज़ों की बॉलिंग ने भारत के कैप्टन हार्मनप्रीत कौर को 17 रन पर आउट किया, जिससे दबाव और बढ़ गया। फिर भी टीम के बीच निराशा नहीं दिखी; इसके बजाय छूटे हुए विकेटों को भरने के लिए दो अनुभवी खिलाड़ी एक साथ आए।
जैसे ही 124/4 का संकेत बोर्ड पर आया, Deepti Sharma ने अपने हीयर-कोटेड शॉट्स से गेंद को धीरे‑धीरे घुमा दिया। 64 गेंदों पर 62* unbeaten बना कर उन्होंने टीम को स्थिर किया। उनके आक्रमण में तीन बॉन्ड्री और एक यादगार एक‑हैंडेड सिक्स शामिल था, जो लैरेन बेल की डिफ़ेंस पर गहरा असर छोड़ गया।
इसी बीच Jemimah Rodrigues ने 54 गेंदों में 48 रन बनाकर अपने खेल का एक मॉडल पेश किया। दोनों खिलाड़ी मिलकर पांचवें विकेट पर 90 रन का साझेदारी 14.2 ओवर में बनाते हुए रन‑रेट को सटीक बनाये रखा। उनका मिलनसार आक्रमण, संक्षिप्त फॉर्मेशन्स और स्ट्राइक रोटेशन ने इंग्लैंड की गेंदबाज़ी को झकझोर दिया।
जोड़ने वाली स्ट्राइकिंग को जारी रखने के बाद, ऑल‑राउंडर अमंजोत कौर ने 14 गेंदों में 20 रन से तेज़ फिनिशिंग की, जिससे भारत ने लक्ष्य को लगभग 2.5 ओवर में पूरा कर लिया। इस जीत ने भारत को 1‑0 की अग्रिम बढ़त दिलाई और टीम के मनोबल को नई ऊर्जा दी।
मैच की जीत भारत की बैटिंग गहराई को दर्शाती है, विशेषकर जब टीम को प्रारम्भिक गिरावट के बाद पुनःउभरना पड़ता है। Deepti Sharma की इस पारी से यह स्पष्ट होता है कि वह निचले क्रम में भी स्थिर और भरोसेमंद अंकर बन सकती हैं, जबकि Jemimah Rodrigues का स्थिर खेल उन्हें भविष्य की बड़ी जिम्मेदारियों के लिये तैयार करता है। यह प्रदर्शन भारत को विश्व कप के पूर्वानुमान में सकारात्मक दिशा में ले जाता है।